मेरा भोला भंडारी


 मेरा  तो  भोला   हैं  भंडारी,
जिसकी महिमा सबसे न्यारी।
जिसको  ध्यावे  दुनिया सारी,
जो  करता नंदी की हैं सवारी।

कोई कहता है महादेव कोई बोले शम्भूनाथ,
सदा रहता है सेवक सिर पर तेरा हाथ।
एक तू ही तो .......है दिनों का नाथ,
*अजनबी * का भी ....तू देना साथ।

पीता है तू भांग का प्याला,
तेरा भेष हैं अजब निराला।
गले में राखे सर्पो की माला,
हैं जग में तू सबका रखवाला।

तेरी जटा में गंगा विराजे,
तेरा डम-डम डमरू बाजे।
साजे एक हाथ में त्रिशूल,
तू काटता कष्टों रूपी शूल।

मनाता है * अजनबी* तुझे महादेव,
आशीर्वाद  रखना  तू  इसपे सदैव।
ना है इसका .........कोई दूजा देव,
ये करता हर दिन ..हर- हर महादेव।

जयप्रकाश चौहान * अजनबी*
जिला:---अलवर, राजस्थान।

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